सनातन धर्म में शनि देव का एक अलग ही स्थान है। एक तरह से हम उन्हें आज के संदर्भ में सर्वोच्च न्यायालय कह सकते हैं जो मनुष्यों के कर्मों के आधार पर उनके साथ न्याय करने का काम करते हैं। अब यदि हमें शनि देव को प्रसन्न करना है तो उसके लिए शनि चालीसा का पाठ करना होता है। ऐसे में आपको शनि चालीसा के फायदे (Shani Chalisa Ke Fayde) जान लेने चाहिए।
आज हम आपके सामने एक-एक करके शनि चालीसा पढ़ने के फायदे (Shani Chalisa Padhne Ke Fayde) ही रखने जा रहे हैं। शनि देव की जिस किसी पर भी कृपा हो जाती है, वह सभी तरह की अनहोनी और कष्टों से बच जाता है। ऐसे में आइये जाने शनि चालीसा के लाभ (Shani Chalisa Benefits In Hindi) जो इसका निरंतर पाठ करने से देखने को मिलते हैं।
शनि चालीसा के फायदे (Shani Chalisa Ke Fayde)
शनि देव को न्याय के देवता के रूप में जाना जाता है। उनकी टेढ़ी नज़र यदि भगवान पर भी पड़ जाती है तो वहां भी अनहित ही देखने को मिलता है फिर चाहे वह रामायण में माता सीता का रावण के द्वारा अपहरण होना हो या फिर राजसभा में द्रौपदी का होता चीरहरण। ऐसे में शनि देव का हम से प्रसन्न रहना बहुत ही आवश्यक माना गया है।
शनि चालीसा पढ़ने के फायदे (Shani Chalisa Padhne Ke Fayde) तो बहुत होते हैं लेकिन इसमें से जो प्रमुख फायदे हैं, आज हम उन्हीं को ही आपके सामने रखेंगे। यदि आप प्रतिदिन और मुख्य तौर पर शनिवार के दिन सच्चे मन के साथ शनि चालीसा का पाठ करते हैं तो कुछ ही दिनों में आपको शनि चालीसा पढ़ने के लाभ देखने को मिल जाएंगे।
#1. शनि देव का प्रसन्न होना
शनि चालीसा को पढ़ने से जो मुख्य लाभ (Shani Chalisa Benefits In Hindi) देखने को मिलता है वह है शनि देव का हमसे प्रसन्न हो जाना। माना जाता है कि यदि शनि देव की किसी पर भी कुदृष्टि पड़ जाती है तो उसको स्वयं ईश्वर भी नहीं बचा पाते हैं। ऐसे में हर कोई शनि देव की टेढ़ी नज़र से बचकर रहना चाहता है और इसके लिए कई तरह के उपाय करता रहता है।
तो इसका सबसे प्रमुख उपाय यही है कि आप हर दिन सच्चे मन के साथ शनि चालीसा का पाठ करना शुरू कर दें। जो भी भक्तगण सच्चे मन के साथ शनि देव की आराधना करते हैं और उनकी चालीसा को पढ़ते हैं तो अवश्य ही शनि देव उनसे प्रसन्न हुए बिना नहीं रह पाते हैं। ऐसे में वे उसका अनहित नहीं करते हैं और ना ही अपनी टेढ़ी नज़र उस पर या उसके परिवार पर डालते हैं।
#2. अनहोनी से बचाव
शनि चालीसा के फायदे (Shani Chalisa Ke Fayde) में एक फायदा जो सबसे मुख्य है और जिसके लिए लोग शनि चालीसा का पाठ भी करते हैं, वह है अनहोनी से बचना। यहाँ अनहोनी से अर्थ हुआ किसी भी तरह की दुर्घटना से बचना। हमारे साथ कभी भी और किसी भी तरह की अनहोनी घटित हो सकती है और इसमें हमारा कोई नियंत्रण नहीं होता है।
यह जरुरी नहीं है कि वह शारीरिक चोट लगने से ही हो बल्कि किसी अपने के साथ बहस हो जाना या किसी कारण से अनचाही स्थिति में फंस जाना इत्यादि। तो ऐसी किसी भी अनहोनी से बचने के लिए शनि चालीसा का पाठ किया जाता है। शनि देव की कृपा से हम हर तरह की अनहोनी से बचे रह सकते हैं।
#3. आर्थिक संपन्नता आना
यह तो शनि चालीसा में ही बोला जाता है कि उनकी कृपा से कोई रंक भी राजा बन जाता है अर्थात निर्धन से निर्धन व्यक्ति भी धनी हो जाता है। वहीं यदि उनकी किसी पर बुरी नज़र लग जाए तो वह राजा से रंक भी बन सकता है अर्थात धनी से निर्धन हो सकता है। तो शनि चालीसा को पढ़ने से आपके घर में आर्थिक संपन्नता देखने को मिलती है।
शनि देव की जिस किसी पर भी कृपा हो जाती है तो उसके सभी तरह के आर्थिक संकट दूर हो जाते हैं, धन कहीं अटका हुआ है तो वह वापस आ जाता है, निवेश किये हुए पैसों में लाभ देखने को मिलता है तो वहीं व्यापार व नौकरी में भी उन्नति होती है। एक तरह से उसके घर में लक्ष्मी का प्रवेश होता है।
#4. प्रतिष्ठा में वृद्धि होना
लोगों के द्वारा मान-सम्मान में वृद्धि देखने के लिए भी शनि देव की पूजा की जाती है और उनकी चालीसा का पाठ किया जाता है। कहते हैं कि शनि देव की कृपा से समाज में व्यक्ति के मान-सम्मान में वृद्धि देखने को मिलती है और उसकी छवि भी सकारात्मक बनती है। यह शनि चालीसा के फायदे (Shani Chalisa Ke Fayde) में एक ऐसा फायदा है जो छुपा हुआ है।
कहने का अर्थ यह हुआ कि लोगों को पता नहीं चलता है लेकिन इसका प्रभाव दूरगामी होता है। यदि किसी की प्रतिष्ठा बढ़ जाती है तो इससे लोगों का उस पर विश्वास बढ़ता है, समाज में उसकी पूछ बढ़ती है तथा दूसरों के साथ रिश्तों में भी मजबूती देखने को मिलती है।
#5. कुंडली में शनि दोष का दूर होना
हमारी कुंडली में यदि शनि ग्रह की दिशा सही नहीं है या शनि का कोई दोष है तो वह बहुत ही अशुभ फल देने वाला होता है। ऐसे में बने बनाये काम बिगड़ने लगते हैं और इसमें हम चाहकर भी कुछ नहीं कर पाते हैं। इसके लिए पंडित से पूछ कर तरह-तरह की पूजा व हवन करवाने की जरुरत पड़ती है।
तो यदि आपको कुंडली से शनि के दोष को दूर करना है तो उसके लिए शनि ग्रह की स्थिति को सही करना पड़ता है। शनि ग्रह की स्थिति ठीक करने के लिए शनि देव को प्रसन्न करना होता है। अब यदि शनि देव को प्रसन्न करना है तो सच्चे मन के साथ शनि चालीसा का पाठ करना होता है। इसलिए शनि चालीसा के लाभ (Shani Chalisa Ke Labh) में यह भी एक लाभ गिना जाता है।
#6. पारिवारिक कलेश दूर होना
जिस किसी के भी द्वारा शनि चालीसा का पाठ किया जाता है और जहाँ भी यह किया जाता है, वहां सकारात्मकता का वास देखने को मिलता है। ऐसे में आपके घर में यदि किसी बुरी शक्ति का प्रभाव है या नकारात्मक भावनाएं हावी है तो वह शनि के प्रभाव से स्वतः ही दूर होने लगती है।
शनि देव की कृपा से आपके घर के चारों ओर सकारात्मक वातावरण निर्मित होता है। इससे परिवार में किसी तरह का कलेश चल रहा है या कोई संकट आ खड़ा हुआ है तो वह दूर हो जाता है। सभी सदस्यों के बीच आपसी प्रेम में वृद्धि देखने को मिलती है और घर में सुख-शांति का वास होता है। यह भी शनि चालीसा पढ़ने के फायदे (Shani Chalisa Padhne Ke Fayde) में से एक है।
#7. कष्टों से मुक्ति पाना
अब शनि देव ही तो मनुष्य को कष्ट देते हैं और अपनी टेढ़ी नज़र से उसके जीवन को तरह-तरह के संकटों से भर देते हैं। किन्तु यदि हम शनि देव को प्रसन्न कर लेते हैं तो उन सभी संकटों को दूर करने का काम भी शनि देव ही करते हैं। ऊपर आपने पढ़ा कि शनि देव की कुदृष्टि के कारण ही माता सीता का अपहरण हुआ लेकिन वह शनि देव की ही कुदृष्टि थी जिससे रावण की मति मारी गयी थी और उसने माता सीता का हरण कर अपनी मृत्यु को ही बुलावा दे दिया था।
ऐसे में शनि चालीसा के फायदों (Shani Chalisa Benefits In Hindi) में एक फायदा यह भी है कि वे हमारे सभी तरह के संकटों और कष्टों को एक पल में ही दूर करने का काम करते हैं। अब वह संकट किसी भी तरह का हो सकता है और कितना भी बड़ा हो सकता है लेकिन यदि शनि देव हमसे प्रसन्न हो गए तो हर समस्या या संकट का समाधान निकल आता है।
#8. दुःख समाप्त होना
शनि चालीसा पढ़ने से जब हमारे संकट दूर हो जा रहे हैं, घर में सुख-शांति आ रही है, समाज में प्रतिष्ठा बढ़ रही है तो अवश्य ही इसका एक लाभ दुखों के दूर होने और सुख के प्रवेश के रूप में देखने को मिलेगा। कहने का अर्थ यह हुआ कि आपको चाहे किसी भी चीज़ की चिंता सता रही हो या किसी भी तरह का दुःख हो, उन सभी से मुक्ति शनि चालीसा के पाठ से मिल जाती है।
शनि देव की कृपा से आपका मन भी शांत होता है और मानसिक तनाव दूर हो जाता है। यदि व्यक्ति सुखी रहता है तो वह अच्छा सोचता है और उसी तरह के कर्म करता है। ऐसे में आपको प्रतिदिन सच्चे मन के साथ शनि चालीसा का पाठ करना चाहिए ताकि आपके दुखों का अंत हो सके।
#9. सभी काम बन जाना
शनि चालीसा का प्रभाव इतना शक्तिशाली होता है कि उससे आपके सभी तरह के काम बन जाते हैं या बनने शुरू हो जाते हैं। जो काम अभी तक नहीं बन पा रहे थे या रह रहकर उनमे किसी तरह की अड़चन या बाधा आ रही थी तो वह सभी बाधाएं स्वतः ही दूर होने लगती है।
शनि चालीसा के फायदे (Shani Chalisa Ke Fayde) इतने अद्भुत हैं कि वह बड़े से बड़े और असंभव काम को भी बना देते हैं। इससे व्यक्ति के शौर्य व साहस में वृद्धि देखने को मिलती है जिस कारण वह कठिन कार्यों को भी सरलता से कर देता है और वह भी प्रभावी ढंग से।
#10. बिमारियों से मुक्ति
यदि आपको कोई असाध्य रोग है या आप लंबे समय से किसी बीमारी से पीड़ित हैं तो इसके लिए भी आपको शनि चालीसा का पाठ करना आज से ही शुरू कर देना चाहिए। शनि चालीसा में इतनी शक्ति होती है कि वह व्यक्ति के शरीर को अंदर से मजबूत कर उसे बीमारी से लड़ने की शक्ति प्रदान करती है।
बहुत से भक्तों ने इसे महसूस भी किया है और इससे उनके असाध्य रोग भी ठीक हो गए हैं। यदि आप अंदर से मजबूत होते हैं तो निश्चित तौर पर आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता भी विकसित होती है। इसके विकसित होने से आप बीमारी से लड़ पाते हैं और उससे जीत जाते हैं। यह भी शनि चालीसा पढ़ने के फायदों में बहुत ही कामगार फायदा है।
इस तरह से आज के इस लेख के माध्यम से आपने शनि चालीसा पढ़ने के लाभ (Shani Chalisa Ke Labh) क्या कुछ हो सकते हैं, उनके बारे में जानकारी ले ली है। इस बात का भी ध्यान रखें कि शनि चालीसा पढ़ने से केवल ऊपर बताये हुए ही नहीं बल्कि व्यक्ति की स्थिति और परिवेश के अनुसार अन्य लाभ भी देखने को मिलते हैं किन्तु ऊपर बताये गए फायदे शनि चालीसा पढ़ने के फायदों (Shani Chalisa Padhne Ke Fayde) में प्रमुख माने जाते हैं।
शनि चालीसा के फायदे से संबंधित प्रश्नोत्तर
प्रश्न: शनि चालीसा का पाठ कितने दिन में करना है?
उत्तर: शनि चालीसा का पाठ आप अपनी इच्छा अनुसार कितने भी दिनों के लिए कर सकते हैं और इसमें किसी तरह की मनाही नहीं है।
प्रश्न: शनिवार के दिन सुबह उठकर क्या करना चाहिए?
उत्तर: शनिवार का दिन शनि देव को समर्पित होता है। इस दिन आपको जल्दी उठकर नहा-धोकर शनि मंदिर जाना चाहिए और साथ ही शनि चालीसा का पाठ करना चाहिए।
प्रश्न: शनि देव को प्रसन्न करने का मंत्र क्या है?
उत्तर: शनि देव को प्रसन्न करने का मंत्र “ॐ प्रां प्रीं प्रौं सः शनैश्चराय नमः” है जिसका जाप आप किसी भी समय कर सकते हैं।
प्रश्न: शनिदेव की पूजा करते समय कौन सा मंत्र बोलना चाहिए?
उत्तर: शनिदेव की पूजा करते समय उनका बीज मंत्र बोला जा सकता है जो कि “ॐ प्रां प्रीं प्रौं सः शनैश्चराय नमः” है।
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